Contents
भीड़ को नियंत्रित करने के लिए एक विशेष प्रणाली, ड्रोन से 4 किमी तक नजर
Jagannath Rath Yatra: भगवान जगन्नाथ, बहन सुभद्रा और भाई बलराम के साथ आषाढ़ी हर साल अहमदाबाद शहर की परिक्रमा पर निकलती है। शहर के कोट क्षेत्र से गुजरने वाली इस रथयात्रा में भगवान के दर्शन के लिए लाखों भक्तों की भीड़ उमड़ती है।
रथयात्रा के इतिहास में ऐसा पहली बार हुआ है कि जगन्नाथ मंदिर के गेट पर इमरजेंसी कॉल बॉक्स लगाया गया है।
अहमदाबाद में शुरू होने वाली भगवान जगन्नाथ जी की 147वीं रथ यात्रा Jagannath Rath Yatra में अत्याधुनिक तकनीक का इस्तेमाल किया है। रथयात्रा की सुरक्षा के लिए पुलिस और अर्धसैनिक बलों समेत 23,000 से ज्यादा जवानों को तैनात किया जाएगा, सीसीटीवी कैमरे, ड्रॉन, जीपीएस सिस्टम, इमरजेंसी कॉल बॉक्स, पोर्टेबल पोल, पब्लिक एड्रेस सिस्टम आदि का भी इस्तेमाल किया जाएगा।
रथयात्रा मार्ग पर स्थायी 12 स्थानों पर कुल 26 कैमरे और पोर्टेबल पोल लगाए गए हैं। इसके अलावा क्राइम ब्रांच की पहल से पूरे रूट पर आने वाले निजी दुकान मालिकों के साथ कुल 1400 सीसीटीवी कैमरे भी लगाए गए हैं। जनता को सूचना और सूचना प्रदान करने के लिए 11 स्थानों पर एक पब्लिक एड्रेसिंग सिस्टम भी है।
आपातकालीन कॉल बॉक्स कैसे काम करता है?
इस कॉल बॉक्स में एक उच्च रिज़ॉल्यूशन कैमरा और एक लाल रंग का बटन है। लाल बटन दबाते ही बॉक्स में लगा कैमरा एक्टिवेट हो जाएगा और मैसेज पुलिस कंट्रोल रूम में चला जाएगा। पुलिस कंट्रोल रूम में मौजूद कर्मचारी इसे प्राप्त करेंगे और बटन दबाने वाले व्यक्ति से सीधे संवाद करेंगे।
पब्लिक एड्रेसिंग सिस्टम (PAS) क्या है?
लोगों को जानकारी और जानकारी देने के लिए रथयात्रा Jagannath Rath Yatra के मार्ग पर 11 स्थानों पर पब्लिक एड्रेसिंग सिस्टम लगाया गया है। अगर किसी जगह पर जरूरत से ज्यादा भीड़ जमा है या फिर कोई अन्य जरूरी जानकारी देनी है तो पुलिस कंट्रोल रूम इस सिस्टम के जरिए देगा।
रथयात्रा की सुरक्षा के लिए 20 ड्रोन का इस्तेमाल किया जाएगा। इसमें एक टेथर्ड ड्रोन भी होगा। पता करें कि यह टेथर्ड ड्रोन क्या है और यह कैसे काम करता है।