एआइ की मदद से लैब में तैयार की सिंथेटिक हड्डी
Synthetic bone: अब किसी भी एक्सीडेंट में हड्डी टूटने या वृद्धावस्था में हड्डियों को नुकसान होने पर ज्यादा परेशान होने की जरूरत नहीं है। वैज्ञानिकों ने एआइ, ऑप्टिमाइजेशन और 3डी प्रिंटिंग की मदद से किसी भी आकार की सिंथेटिक हड्डी तैयार करने में सफलता हासिल की है।
अमेरिका में हुआ शोध
वैज्ञानिकों की इस खोज के बाद ऑर्थोपेडिक सर्जरी को नई दिशा मिलने की उम्मीद है। नेचर कम्युनिकेशंस में प्रकाशित एक शोध के मुताबिक अमरीका के इलिनोइस यूनिवर्सिटी अर्बाना-शैंपेन में इन हड्डियों (Synthetic bone) का निर्माण हुआ है। सिविल व पर्यावरण इंजीनियरिंग के प्रोफेसर शेली झांग और छात्र यिंगकी जिया ने पेकिंग विश्वविद्यालय के प्रोफेसर लियू के सहयोग सेइनको बनाया है।
प्राकृतिक हड्डियों की तरह काम करेगी
ये पूरी तरह प्राकृतिक हड्डियों की तरह काम करती हैं। इसके साथ ही पारंपरिक तरीकों से की जाने वाली सर्जरी से होने वाले नुकसान से छुटकारा मिल सकेगा। वैज्ञानिकों ने बताया कि पैर की ऊपरी हिस्से में मौजूद बड़ी हड्डी अक्सर चोट लगने के कारण टूट जाती है। कई बार इसके किनारों में भी नुकसान पहुंच जाता है। इससे बुजुर्ग लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ता है।
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चिकित्सक पारंपरिक तरीकों से धातु की प्लेट और स्क्रू की मदद से हड्डियों को कस देते हैं लेकिन समय के साथ लोगों को स्क्रू के ढीले होने और दर्द के कारण परेशानी होती है। ऐसे स्थानों पर सिंथेटिक हड्डी (Synthetic bone) का इस्तेमाल किया जा सकेगा।
Synthetic bone जैविक प्रणालियों के अनुरुप कार्य करेगी
प्रो. झांग ने बताया कि सिंथेटिक हड्डी के निर्माण के लिए पॉलिमर जैसी चीजों का इस्तेमाल किया है। उन्होंने कहा कि सिंथेटिक हड्डी के निर्माण में मुख्य रूप से संरचना और उसका जैविक प्रणालियों के अनुरुप कार्य करना था। इसके लिए एआइ एल्गोरिदम का उपयोग किया गया।
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