saif ali khan property dispute mp highcourt: क्यों विवाद में आई यह संपत्ति? संक्षिप्त में जानिए पूरी कहानी
कितनी संपत्ति और कहां‑कहां
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कुल अनुमानित मूल्य: ₹15,000 करोड़
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प्रमुख संपत्तियाँ:saif ali khan property dispute mp highcourt
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Flag Staff House (बचपन का घर)
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Noor‑Us‑Sabah Palace, Dar‑Us‑Salam, Habibi’s Bungalow, Ahmedabad Palace, Kohefiza Property
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5,700 एकड़ भूमि भोपाळ में, अतिरिक्त 1,370 एकड़ बाहरी क्षेत्रों में
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‘Enemy Property Act’ की मार
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1965 खून सावामी के बाद बनाया गया कानून भारत छोड़कर पाकिस्तान चले गए लोगों की संपत्ति पर केंद्र को अधिकार देता है
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सैफ के परिवार की महान चाची अबिदा सुल्तान पाकिस्तान गई थीं, जिससे संपत्ति “दुश्मन संपत्ति” घोषित हुई
हाई कोर्ट का नई सुनवाई आदेश:
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MP High Court ने 2000 के ट्रायल कोर्ट के फैसले को रद्द कर रिट्रायल का आदेश दिया
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नए ट्रायल की समय सीमा: एक साल में सुनवाई पूरी करने हेतु निर्देश
‘Enemy Property’ का प्रभाव और अगला कदम:
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2014 के नोटिस के बाद संपत्ति पर सरकार का कब्जा बढ़ा
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सैफ ने 2015 में रोक लगवायी थी, लेकिन दिसंबर 2024 में हाई कोर्ट ने स्थगन को रद्द कर दिया
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परिवार को 30 दिन में अपना दावा पेश करने का मौका मिला, लेकिन कोई आवेदन नहीं हुआ
खानदान की पैतृक स्थिति:
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वंशज: नवाब हमीदुल्ला खान की तीन बेटियाँ –
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अबिदा (पाकिस्तान गई)
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सज़िदा सुल्तान (भारत में, सैफ की दादी)
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रबिया सुल्तान
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विभाजन विवाद| सज़िदा को सर्वोत्तम उत्तराधिकारी माना गया, लेकिन विभाजन मुस्लिम पर्सनल लॉ के तहत होना चाहिए
सैफ अली खान का यह संपत्ति मामला न सिर्फ बॉलीवुड का विवाद बन गया, बल्कि यह कानूनी, ऐतिहासिक और संवेदनशील मुद्दा भी है।
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संपत्ति का मूल्य ₹15,000 करोड़
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‘Enemy Property Act’ के तहत सरकार का दावा सुगठित
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हाई कोर्ट का रिट्रायल आदेश यहां नई शुरुआत
सैफ के पक्ष में अब दो रास्ते बचे हैं:
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अपील: पुनः “Enemy Property Tribunal” में दावा/petition दाखिल करें
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नए ट्रायल में पूरी तैयारी के साथ शामिल हों, मुस्लिम पर्सनल लॉ की दलीलें पेश करें
मध्यप्रदेश हाईकोर्ट ने भोपाल की रियासत की पुश्तैनी संपत्ति विवाद में बड़ा फैसला सुनाते हुए ट्रायल कोर्ट के 25 साल पुराने फैसले को निरस्त कर दिया है। जस्टिस संजय द्विवेदी की एकलपीठ ने ट्रायल कोर्ट को नए सिरे से सुनवाई करने का निर्देश दिया है और कहा है कि यह मामला एक साल के अंदर निपटा लिया जाए।
यह विवाद भोपाल के अंतिम नवाब मोहम्मद हमीदुल्ला खान की संपत्ति के उत्तराधिकार को लेकर है, जिसमें नवाब के वंशजों और सैफ अली खान के परिवार के बीच विवाद चल रहा है।
भोपाल रियासत और सैफ अली खान का संबंध
भोपाल के अंतिम नवाब सिकंदर सौलत इफ्तेखारुल मुल्क मोहम्मद हमीदुल्ला खान के दो विवाह थे। उनकी बड़ी पत्नी की बेटी साजिदा को 1961 में भारत सरकार ने कानूनी उत्तराधिकारी घोषित किया था।
साजिदा की शादी पटौदी रियासत के नवाब इफ्तिखार अली खान से हुई, जिनके पुत्र नवाब मंसूर अली खान पटौदी और फिर उनके पुत्र सैफ अली खान को इस संपत्ति का वारिस माना गया है।
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सैफ अली खान की पुश्तैनी संपत्ति का यह विवाद लंबे समय से कोर्ट में चल रहा है। मध्यप्रदेश हाईकोर्ट के हालिया आदेश के बाद यह मामला फिर से गरमाने वाला है। इस फैसले ने परिवार के बीच संपत्ति के विवाद को नया मोड़ दिया है और आने वाले समय में कानूनी जंग और तेज होने की संभावना है।
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