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किम जोंग उन का 140 किलो वजन, विदेशों में दवाओं की तलाश
Kim Jong Un Health Problems : उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन का वजन फिर बढ़ गया है। जिसके कारण वह ब्लड प्रेशर और डायबिटीज जैसी बीमारियों हो गई हैं। दक्षिण कोरिया की राष्ट्रीय खुफिया एजेंसी नेशनल इंटेलिजेंस सर्विस ने सोमवार को कहा कि उत्तर कोरियाई अधिकारी किम को वजन कम करने में मदद करने के लिए विदेशों में ड्रग्स की तलाश कर रहे थे।
40 साल के किम जोंग उन बहुत ज्यादा शराब पीते हैं और स्मोकिंग भी करते हैं। रिपोर्ट के मुताबिक उनका वजन 140 किलो तक पहुंच गया है। इससे पहले 2021 में किम ने डाइट में बदलाव करने के बाद अपना वजन कम किया था। बढ़ते वजन के कारण किम जोंग उन को दिल से जुड़ी बीमारियों का खतरा बढ़ गया है।
पिता और दादा की मृत्यु हृदय संबंधी बीमारियों के कारण हुई थी दरअसल, उनके परिवार के सदस्यों को पहले भी दिल से संबंधित बीमारियां रही हैं। इसके चलते किम के पिता और दादा दोनों की मौत हो गई थी। किम के पिता किम जोंग इल का 2011 में 70 साल की उम्र में दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया था। उत्तर कोरिया के संस्थापक और किम के दादा किम इल सुंग का भी 82 साल की उम्र में 1994 में दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया था।
दक्षिण कोरियाई सांसद ली सियोंग क्वान ने कहा कि किम की ऊंचाई 5 फीट 8 इंच थी। उनकी सेहत को देखते हुए जल्द ही उनके दिल की किसी बीमारी का शिकार होने की संभावना है।
उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन ने अभी तक देश की सत्ता संभालने के लिए उत्तराधिकारी की नियुक्ति नहीं की है। हालांकि, कई मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया है कि किम अपनी बेटी किम जू को अपना उत्तराधिकारी बनाएंगे। इसके लिए उन्होंने अपनी बेटी को ट्रेनिंग भी देनी शुरू कर दी है।
किम जोंग की बेटी या बहन
किम जोंग का उत्तराधिकारी हो सकता है, किम अपनी बेटी को अलग-अलग इवेंट्स और फंक्शन में अपने साथ लेकर जाते हैं। किम जोंग उन उत्तर कोरिया के मिसाइल लॉन्च से जुड़े कई कार्यक्रमों में तानाशाह के साथ भी नजर आ चुके हैं। हालांकि किम के उत्तराधिकारी बनने की रेस में उनकी बहन किम यो जोंग का नाम भी शामिल है।
यो जोंग किम से भी ज्यादा आक्रामक हैं। वह 2014 से उत्तर कोरिया के प्रचार और आंदोलन विभाग की प्रमुख हैं। 2017 में उन्हें पोलित ब्यूरो का सदस्य बनाया गया था। यह शीर्ष निकाय उत्तर कोरिया से संबंधित सभी प्रमुख निर्णय लेता है।
किम जोंग उन का 140 किलो वजन, विदेशों में दवाओं की तलाश
Kim Jong Un Health Problems : उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन का वजन फिर बढ़ गया है। जिसके कारण वह ब्लड प्रेशर और डायबिटीज जैसी बीमारियों हो गई हैं। दक्षिण कोरिया की राष्ट्रीय खुफिया एजेंसी नेशनल इंटेलिजेंस सर्विस ने सोमवार को कहा कि उत्तर कोरियाई अधिकारी किम को वजन कम करने में मदद करने के लिए विदेशों में ड्रग्स की तलाश कर रहे थे।
40 साल के किम जोंग उन बहुत ज्यादा शराब पीते हैं और स्मोकिंग भी करते हैं। रिपोर्ट के मुताबिक उनका वजन 140 किलो तक पहुंच गया है। इससे पहले 2021 में किम ने डाइट में बदलाव करने के बाद अपना वजन कम किया था। बढ़ते वजन के कारण किम जोंग उन को दिल से जुड़ी बीमारियों का खतरा बढ़ गया है।
किम के पिता-दादा को हृदय संबंधी बीमारी
पिता और दादा की मृत्यु हृदय संबंधी बीमारियों के कारण हुई थी दरअसल, उनके परिवार के सदस्यों को पहले भी दिल से संबंधित बीमारियां रही हैं। इसके चलते किम के पिता और दादा दोनों की मौत हो गई थी। किम के पिता किम जोंग इल का 2011 में 70 साल की उम्र में दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया था। उत्तर कोरिया के संस्थापक और किम के दादा किम इल सुंग का भी 82 साल की उम्र में 1994 में दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया था।
दक्षिण कोरियाई सांसद ली सियोंग क्वान ने कहा कि किम की ऊंचाई 5 फीट 8 इंच थी। उनकी सेहत को देखते हुए जल्द ही उनके दिल की किसी बीमारी का शिकार होने की संभावना है।
उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन ने अभी तक देश की सत्ता संभालने के लिए उत्तराधिकारी की नियुक्ति नहीं की है। हालांकि, कई मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया है कि किम अपनी बेटी किम जू को अपना उत्तराधिकारी बनाएंगे। इसके लिए उन्होंने अपनी बेटी को ट्रेनिंग भी देनी शुरू कर दी है।
किम जोंग की बेटी या बहन
किम जोंग का उत्तराधिकारी हो सकता है, किम अपनी बेटी को अलग-अलग इवेंट्स और फंक्शन में अपने साथ लेकर जाते हैं। किम जोंग उन उत्तर कोरिया के मिसाइल लॉन्च से जुड़े कई कार्यक्रमों में तानाशाह के साथ भी नजर आ चुके हैं। हालांकि किम के उत्तराधिकारी बनने की रेस में उनकी बहन किम यो जोंग का नाम भी शामिल है।
यो जोंग किम से भी ज्यादा आक्रामक हैं। वह 2014 से उत्तर कोरिया के प्रचार और आंदोलन विभाग की प्रमुख हैं। 2017 में उन्हें पोलित ब्यूरो का सदस्य बनाया गया था। यह शीर्ष निकाय उत्तर कोरिया से संबंधित सभी प्रमुख निर्णय लेता है।