TLP समर्थकों की मौत और पुलिस से भिड़ंत

gaza peace plan protests pakistan: पाकिस्तान में गाजा पीस प्लान के समर्थन पर तहरीक-ए-लब्बैक पाकिस्तान (TLP) के समर्थकों ने शुक्रवार को हिंसक प्रदर्शन किया। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के गाजा सीजफायर प्लान का विरोध करते हुए, हजारों TLP कार्यकर्ता इस्लामाबाद की ओर बढ़ने की कोशिश कर रहे थे। इसके दौरान पुलिस से उनकी हिंसक झड़प हुई, जिसमें दो प्रदर्शनकारियों की मौत हो गई और कई लोग घायल हो गए।
gaza peace plan protests pakistan: TLP का विरोध
तहरीक-ए-लब्बैक पाकिस्तान, जो एक कट्टरपंथी इस्लामी पार्टी है, ने गाजा शांति योजना का विरोध करते हुए राजधानी इस्लामाबाद में मार्च निकाला। पार्टी के समर्थकों का कहना था कि यह योजना मुस्लिमों के खिलाफ है और इसका उद्देश्य गाजा के लोगों की दुखों को और बढ़ाना है। जैसे ही प्रदर्शनकारी अमेरिकी दूतावास की ओर बढ़ने लगे, पुलिस ने उन्हें रोकने के लिए आंसू गैस के गोले दागे। इसके बाद प्रदर्शन और भी हिंसक हो गए। प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर ईंटों और पत्थरों से हमला किया।
Read More:- क्या आपने कभी सोचा है कि आपकी सुबह की शुरुआत कैसी होनी चाहिए?
साद रिजवी की गिरफ्तारी का विवाद
यह हिंसा तब भड़की जब पंजाब पुलिस ने TLP के नेता साद रिजवी को गिरफ्तार करने के लिए उसके मुख्यालय पर छापा मारा। हालांकि, साद रिजवी पुलिस से बचने में सफल रहे, लेकिन इसके बाद पुलिस और उनके समर्थकों के बीच झड़प हुई, जिसमें कई लोग घायल हुए। साद रिजवी के खिलाफ यह कार्रवाई पाकिस्तान सरकार द्वारा उनके कार्यों को लेकर की जा रही कड़ी नीतियों का हिस्सा थी।
gaza peace plan protests pakistan: पुलिस कार्रवाई और सरकार के आदेश
हिंसा के बढ़ते स्तर को देखते हुए, पाकिस्तान सरकार ने इस्लामाबाद और रावलपिंडी में मोबाइल इंटरनेट सेवा को बंद कर दिया है। साथ ही, प्रमुख सड़कों को ब्लॉक कर दिया गया और दंगे रोकने के लिए पुलिस की तैनाती की गई। पूरे पंजाब में भी धारा 144 लागू की गई है, जिसके तहत चार या ज्यादा लोगों का एक साथ इकट्ठा होना प्रतिबंधित कर दिया गया है। यह कदम प्रदर्शनकारियों को नियंत्रित करने के लिए उठाया गया।
gaza peace plan protests pakistan: TLP का इतिहास और इसके संघर्ष
तहरीक-ए-लब्बैक पाकिस्तान की स्थापना 2017 में खादिम हुसैन रिजवी ने की थी, जो एक कट्टरपंथी धार्मिक नेता थे। रिजवी ने हमेशा मुस्लिम समाज के अधिकारों की रक्षा करने के नाम पर विवादित बयानों और विरोध प्रदर्शनों का नेतृत्व किया। विशेषकर, फ्रांस के खिलाफ उनके भड़काऊ बयान और सलमान तासीर की हत्या को लेकर उनकी कट्टरपंथी सोच ने TLP को एक विवादित राजनीतिक पार्टी बना दिया।

साद रिजवी ने अपने पिता की मौत के बाद संगठन की कमान संभाली और इसे लगातार बढ़ावा दिया। हालाँकि, उनका प्रदर्शन और गतिविधियाँ पाकिस्तान सरकार के लिए परेशानी का कारण बन चुकी हैं, और यह पार्टी सरकार के विरोध में अपने कार्यों को बढ़ाती जा रही है।
Read More:- जिंदगी में होना है सफल तो घर के वास्तु में करें छोटा सा बदलाव
gaza peace plan protests pakistan: पाकिस्तान में तंत्र के खिलाफ बढ़ती असहमति
पाकिस्तान में चल रही यह हिंसा गाजा शांति योजना पर केवल एक प्रतिक्रिया नहीं है, बल्कि यह उस राजनीतिक और धार्मिक असहमति का प्रतीक है, जो देश में पनप रही है। TLP और अन्य कट्टरपंथी संगठनों का कहना है कि उनकी आवाज़ को दबाया जा रहा है और उनका उद्देश्य हमेशा से मुस्लिमों के अधिकारों की रक्षा करना रहा है।
