
Chickenpox Treatment Myths
Chickenpox Treatment Myths: चिकनपॉक्स, जिसे हिंदी में छोटी माता कहते हैं, यह एक संक्रामक रोग है जो वरिसेला-जोस्टर वायरस के कारण होता है। यह बीमारी खासकर बच्चों में अधिक देखी जाती है, लेकिन यह किसी भी उम्र में हो सकती है। इसमें चेहरे पर फुंसियां और दाग-धब्बे हो जाते हैं। इसके अलावा माता आने पर बुखार भी आ जाता है। चिकनपॉक्स से जुड़े कई भ्रम और मान्यताएँ भी समाज में प्रचलित हैं, आज हम आपको चिकनपॉक्स के कारण, लक्षण, इलाज और इससे जुड़ी मान्यताओं के बारें में बताएंगे।
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Chickenpox Treatment Myths: क्या है चिकनपॉक्स?
चिकनपॉक्स एक संक्रमण है जिसमें शरीर पर लाल रंग के छोटे दाने चकत्ते आ जाते हैं, जिनमें खुजली होती है। यह बीमारी बच्चों से लेकर बड़ो में भी होती है, लेकिन कहा जाता है कि अगर किसी व्यक्ति को यह बीमारी एक बार हो जाए, तो आमतौर पर दोबारा नहीं होती क्योंकि शरीर में इस वायरस के खिलाफ इम्युनिटी विकसित हो जाती है।
चिकनपॉक्स के लक्षण
1. शरीर पर लाल चकत्ते यह सबसे प्रमुख लक्षण है, जिसमें छोटे लाल दाने निकलते हैं, जो बाद में फफोले में बदल जाते हैं।
2. तेज बुखार अक्सर 101-102 डिग्री फ़ारेनहाइट तक बुखार आ सकता है।
3. खुजली और जलन दानों में बहुत तेज खुजली होती है।
4. थकान और कमजोरी संक्रमित व्यक्ति बहुत अधिक थका हुआ महसूस करता है।
5. कुछ मरीजों में सिरदर्द और भूख में कमी भी देखी जाती है।
फैलने के कारण..
1. हवा के जरिए जब संक्रमित व्यक्ति खांसता या छींकता है, तो वायरस हवा में फैल जाता है।
2. सीधे संपर्क से संक्रमित व्यक्ति के दानों से निकले तरल पदार्थ के संपर्क में आने से संक्रमण हो सकता है।
3.संक्रमित वस्तुओं से रोगी द्वारा उपयोग किए गए कपड़े, तौलिया, बर्तन आदि से भी यह फैल सकता है।
Chickenpox Treatment Myths: इसका उपचार कैसे करें..
1. रोगी को पूरी तरह आराम करना चाहिए ताकि शरीर संक्रमण से लड़ सके।
2. खुजली रोकने के लिए डॉक्टर कैलामाइन लोशन लगाने की सलाह देते हैं।
3. बुखार कम करने के लिए पैरासिटामोल जैसी दवाइयाँ ली जा सकती हैं।
4. दानों को खुजलाने से बचें और हल्के गर्म पानी से स्नान करें।
5. हाइड्रेशन का ध्यान रखे खूब पानी पिएं और हल्का, पौष्टिक भोजन करें।
घरेलू उपचार
1. नीम में एंटीवायरल गुण होते हैं। रोगी के पास नीम की पत्तियां रखने या नहाने के पानी में डालने से फायदा हो सकता है।
2. त्वचा को ठंडक देने के लिए हल्दी और चंदन का लेप लगाया जाता है।
3. बेसन और दही का पेस्ट लगाएं खुजली कम करने के लिए यह कारगर उपाय माना जाता है।
4. नारियल पानी यह शरीर को ठंडक पहुंचाने के लिए फायदेमंद होता है।
Chickenpox Treatment Myths: चिकनपॉक्स से जुड़ी मान्यताएं…
चिकनपॉक्स को लेकर समाज में कई तरह की मान्यताएँ हैं, आपको बता दें कि 90 के दशक तक चिकन पॉक्स के इंजेक्शन मौजूद नहीं थे। इस कारण से इस बीमारी के इलाज के लिए विभिन्न घरेलू उपायों का सहारा लिया जाता था। माना जाता था कि नीम के पत्ते घर के बाहर रखने से कीड़े-मकौड़े घर में नहीं आते, संक्रमण को फैलने से भी रोकता हैं। परंतु इसे भगवान से जोड़ दिया गया।
देवी का प्रकोप से होता है चिकनपॉक्स
कई जगहों पर इसे “माता का प्रकोप” माना जाता है और लोग पूजा-पाठ करते हैं। हालांकि, यह एक वायरल संक्रमण है, जिसका वैज्ञानिक रूप से इलाज किया जा सकता है।
नीम के पत्ते लगाने से मिलती है राहत..
चिकनपॉक्स से बचने के लिए नीम का प्रयोग करते हैं। क्योकि नीम में जरूर एंटीसेप्टिक गुण होते हैं, लेकिन चिकनपॉक्स को पूरी तरह ठीक करने के लिए मेडिकल ट्रीटमेंट जरूरी है।
देवी मंदिर में पूजा करने से ठीक होता है चिकनपॉक्स..
ऐसी मान्याता है कि अगर घर में किसी को माता निकल आएं तो घर के सदस्यों को रोजाना देवी के मंदिर जाना चाहिए। नीम के पत्ते उन्हें चढ़ाना चाहिए फिर उस नीम के पत्तो से बीमार व्यक्ति को हवा करना चाहिए। और आस पास नीम रखनी चाहिए। इससे माता प्रसन्न होती हैं और चिकनपॉक्स जल्दी ठीक हो जाता हैं।
बीमारी के दौरान नहीं नहाना चाहिए
यह एक गलत धारणा है। हल्के गर्म पानी से स्नान करने से खुजली से राहत मिलती है और संक्रमण का खतरा कम होता है।
चिकनपॉक्स दोबारा नहीं होता
यह पूरी तरह सच नहीं है। कुछ दुर्लभ मामलों में, यह बीमारी दोबारा भी हो सकती है, खासकर अगर रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर हो।
Chickenpox Treatment Myths: Conclusion (निष्कर्ष)
चिकनपॉक्स एक आम लेकिन संक्रामक बीमारी है, यह बच्चों में ज्यादा होती हैं। वैक्सीन लेना, साफ-सफाई रखना और संक्रमित व्यक्ति से दूरी बनाना सबसे अच्छे बचाव के तरीके हैं। हालांकि, कई लोग आज भी इसे देवी का प्रकोप मानते हैं, लेकिन वैज्ञानिको ने इसे मिथक बताया है, अगर किसी को चिकनपॉक्स हो जाए, तो डॉक्टर की सलाह लें और घरेलू उपायों का सहारा लें ताकि बीमारी जल्दी ठीक हो सके।